अयोध्या: रामजन्मभूमि में समतलीकरण के दौरान मिले देवी-देवताओं की खंडित मूर्तियां, कलश, शिवलिंग व अन्य वस्तुएँ,देखे तस्वीरें
रामजन्मभूमि परिसर में भव्य राममंदिर के निर्माण के लिए समतलीकरण का कार्य जारी है। इस खुदाई के दौरान मंदिर के तरह तरह के अवशेष प्राप्त हुए हैं। रामजन्मभूमि परिसर के पुराने गर्भगृह स्थल के समतलीकरण का कार्य श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की देखरेख में बीते 11 मई से चल रहा है। अब तक किए गए समतलीकरण के कार्य में खुदाई के बीच मंदिर के अवशेष और भिन्न-भिन्न प्रकार की कलाकृतियां, आमलक व विभिन्न प्रकार के पत्थर मिले हैं।खुदाई से जो वस्तुएँ प्राप्त हुई है उनमे देवी-देवताओं की खंडित मूर्तियां, पुष्प, कलश के साथ शिवलिंग भी शामिल हैं।
श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि अयोध्या में भावी मंदिर के निर्माण के लिए भूमि के समतलीकरण एवं पुराने गैंग-वे को हटाने का काम जारी है। ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ये भी कहा है कि चरणबद्घ तरीके से काम को अंजाम दिया जा रहा है। ट्रस्ट की अगली बैठक व भूमि पूजन का निर्णय देश की परिस्थिति पर निर्भर है।
आपको बता दें कि देश में आज जिस तरह के हालात कोरोना महामारी के कारण बने हुए हैं उसके चलते समय-समय पर जारी निर्देशों का पालन करते हुए मशीनों का उपयोग एवं सोशल डिस्टेंसिंग, सैनिटाइजेशन, मास्क समेत अन्य सभी सुरक्षा उपायों को ध्यान में रखते हुए रामजन्मभूमि में समतलीकरण का काम किया जा रहा है। इस कार्य को अंजाम करने के लिए, एक क्रेन, दो ट्रैक्टर व दस मजदूर लगे हैं। जेसीबी के जरिए गर्भगृह के चारों तरफ के मलबे को हटाया जा रहा है। इसी प्रकार दर्शन मार्ग पर दर्शनार्थियों के लिए बनाए गए गैंग-वे की बैरीकेडिंग को हटाने का भी काम जारी है।
रामलला के पुराने गर्भगृह का समतलीकरण का कार्य जारी है। 11 मई से प्रारंभ समतलीकरण कार्य में विभिन्न प्रकार के पुरातात्विक अवशेष अभी तक प्राप्त हो चुके हैहैं। खुदाई के दौरान अब तक देवी-देवताओं की खंडित मूर्तियां, पुष्प, कलश, आमलक, दोरजाम्ब, विभिन्न प्रकार की कलाकृतियां, मेहराब के पत्थर, 7 ब्लैक टच स्टोन के स्तंभ, 8 रेड सैंड स्टोन के स्तंभ, 5 फीट आकार की नक्काशी युक्त शिवलिंग की आकृति आदि पुरातात्विक वस्तुएं प्राप्त हुईं हैं। समतलीकरण के दौरान प्राप्त इन पुरातात्विक वस्तुओं को ट्रस्ट द्वारा संरक्षित किए जाने की भी योजना बनाई जा रही है।